मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने शुक्रवार को सचिवालय में पीएमश्री और लखपति दीदी योजना की समीक्षा बैठक की। बैठक में उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि उत्तराखंड में भी पीएमश्री योजना की तर्ज पर स्कूलों के आधुनिकीकरण की योजना शुरू की जाए, जिससे सरकारी विद्यालयों में स्मार्ट क्लास, विज्ञान प्रयोगशालाएं, पुस्तकालय और खेल सुविधाएं सुलभ कराई जा सकें।
मुख्य सचिव ने बताया कि पीएमश्री योजना के तहत स्कूलों को पांच वर्षों तक 40-40 लाख रुपये की धनराशि (कुल दो करोड़ रुपये) दी जाती है। इससे विद्यालयों में आधुनिक सुविधाओं का विकास किया जाता है। उन्होंने निर्देश दिए कि प्रदेश में क्लस्टर विद्यालयों से योजना की शुरुआत की जाए, ताकि पठन-पाठन की गुणवत्ता में सुधार हो और शिक्षा प्रणाली को नई दिशा मिल सके।
मुख्य सचिव ने ‘लखपति दीदी’ योजना की प्रगति की समीक्षा करते हुए कहा कि स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) की क्षमता बढ़ाने के लिए नियमित रूप से स्किल डेवेलपमेंट कार्यक्रम चलाए जाएं। उन्होंने कहा कि तकनीक के माध्यम से उत्पादों की गुणवत्ता और विपणन क्षमता बढ़ाई जाए।
उन्होंने निर्देश दिए कि राज्य स्तरीय संचालन समिति और निगरानी समिति का शीघ्र गठन कर उनकी नियमित बैठकें आयोजित की जाएं। साथ ही, एसएचजी उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराने के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफार्म, रिटेल चेन और हाउस ऑफ हिमालयाज में अधिकाधिक स्थान दिया जाए।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव आर. मीनाक्षी सुन्दरम, अपर सचिव विजय कुमार जोगदण्डे, मेहरबान सिंह बिष्ट एवं सुश्री झरना कामठान सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।


