देहरादून ,
उत्तराखण्ड प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा ने जनपद अल्मोड़ा के सल्ट तहसील में हुए हृदय विदारक सड़क हादसे में रेस्क्यू के मामले में स्थानीय प्रशासन एवं सरकार द्वारा बरती गई लापरवाही पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि आज सुबह एक दुखद घटना इस प्रदेश में हुई है। अल्मोड़ा जिले के मरचुला के पास एक सड़क हादसे में 36 लोगों की जान चली गई । दुर्घटना के बाद सरकार की देरी से कई लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा। 7 बजे हुई हादसे की घटना के बाद वहां के जनप्रतिनिधियों ने प्रशासन से मदद की गुहार लगाने के लिए जिला अधिकारी अल्मोड़ा को फोन किया परंतु जिला अधिकारी ने डेढ़ घंटे तक किसी का फोन नहीं उठाया। घटनास्थल पर जहां एंबुलेंस को 7ः30 बजे के आसपास पहुंच जाना चाहिए था वहीं सरकारी लापरवाही के चलते एम्बुलेंस 9ः00 बजे पहुंची इसके बाद घायलों को रामनगर पहुंचाया गया परंतु वहां पर भी वह व्यवस्था नहीं थी जो होनी चाहिए थी।
करन माहरा ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्री का कहना है कि हमने एयरलिफ्ट करने के लिए चाँपर भेजें परंतु चाँपर रामनगर भेजे गए हैं। परन्तु यदि चौपर को घटना स्थल मरचुला भेजा जाता तो कई लोगों की जान बच सकती थी। उन्होंने कहा कि सुस्त प्रशासन और सुस्त सरकार क्या हालत इस प्रदेश के हैं वह देखने वाली बात है पहाड़ में सड़कों की स्थिति इतनी खराब है की इसी रोड में पिछले दो-तीन सालों में कई बड़े हादसे से हो गए हैं तब भी सरकार ध्यान नहीं दे रही है।
करन माहरा ने कहा कि सरकार से गुजारिश है कि मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपए तथा घायलों को एवं 5 लाख की सहायता तुरंत उपलब्ध कराई जाए साथ ही एंबुलेंस के देर से पहुंचने का कारण और डीएम के फोन ना उठाने के प्रकरण की जांच होनी चाहिए।